वैर -विरोध का अब तो हो अंत
आयेँ अब खुशियाँ और बसंत
सत्य कर्म करने मे हो मस्त
जीयेँ औरों के लिए कर्म मे रहें व्यस्त
हों सदैव कर्मरत हों सब सम्मत
हों पूरी अभिलाषाएं शत-प्रतिशत।
(जन्मदिन पर -पूनम माथुर द्वारा Sunday, February 5, 2012 at 10:05am को लिखित )
आयेँ अब खुशियाँ और बसंत
सत्य कर्म करने मे हो मस्त
जीयेँ औरों के लिए कर्म मे रहें व्यस्त
हों सदैव कर्मरत हों सब सम्मत
हों पूरी अभिलाषाएं शत-प्रतिशत।
(जन्मदिन पर -पूनम माथुर द्वारा Sunday, February 5, 2012 at 10:05am को लिखित )